कांग्रेस का आरोप-राहुल गांधी के फोटाग्राफर को विश्वनाथ मंदिर में मिली अनुमति अंतिम क्षण में रद की

  • प्रशासन ने काफी देर बाद सात फोटो भेजी, दर्शन की एक भी नहीं

लखनऊ/वाराणसी। कांग्रेस ने शनिवार को दावा किया कि वाराणसी में काशी विश्वनाथ मंदिर में दर्शन के दौरान पार्टी के फोटोग्राफर को पूर्व पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी के साथ जाने की अनुमति अंतिम क्षण में रद्द कर दी गई।

कांग्रेस ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ”आज सवेरे करीब 10.30 बजे राहुल गांधी जी ने काशी में बाबा विश्वनाथ मंदिर में दर्शन और अभिषेक किया”पार्टी ने दावा किया कि अंतिम क्षण में मंदिर में जाने के लिए हमारे कैमरा (फोटोग्राफर) को मिली अनुमति निरस्त कर दी गई।

जिला प्रशासन ने आश्वस्त किया कि मंदिर के ‘कैमरापर्सन’ (छायाकार) द्वारा फोटो साझा की जाएगी। पार्टी ने कहा कि साढ़े तीन घंटे तक लगातार प्रयास करने पर भी फोटो उपलब्ध नहीं कराई गई।आरोप- दर्शन की तस्वीर नहीं भेजी मंदिर प्रशासन नेकांग्रेस ने कहा, “ फिर कुछ 7 तस्वीरें भेजी गईं, जिनमें से एक भी दर्शन करने की नहीं हैं – जबकि मंदिर के ‘कैमरापर्सन’ ने फोटो खींची थीं।”

पार्टी ने दावा किया, ”ऐसा करके वाराणसी के जिला प्रशासन ने एक बार फिर यह साबित कर दिया कि वह दिल्ली में बैठे ‘कैमराजीवी’ के मुलाजिम से ज़्यादा और कुछ नहीं।

यह राजनीति और चाटुकारिता नहीं ओछापन है- पर याद रहे शिव के भक्त को न उनके संकल्प से, न न्याय के इस महासंग्राम से कोई ताकत रोक सकती है।”

कांग्रेस ने कहा, “बाबा विश्वनाथ सबका भला करें, दुष्टों को सन्मति दें।”बाद में कांग्रेस के पोस्ट को साझा करते हुए पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने कहा, ”यह सब दिल्ली में बैठे हुए देश के प्रधान कैमराजीवी के इशारे से हुआ है। यह उनकी ‘वन नेशन, वन फोटो’ पॉलिसी है।